7 Common Tax Mistakes to Avoid in 2025

हेलो दोस्तों! टैक्स फाइलिंग का सीज़न आते ही हम में से कई लोग कन्फ्यूज़ हो जाते हैं। चाहे आप सैलरीड पर्सन हों, बिज़नेस ओनर हों या फ्रीलांसर, टैक्स रिटर्न फाइल करना ज़रूरी है, लेकिन इसमें छोटी-छोटी गलतियाँ आपको महंगी पड़ सकती हैं। 2025 में टैक्स नियमों में कुछ नए अपडेट्स आए हैं, और अगर आप इन गलतियों से बचें, तो आप न सिर्फ़ पैसे बचा सकते हैं, बल्कि इनकम टैक्स डिपार्टमेंट के नोटिस से भी दूर रह सकते हैं। इस आर्टिकल में हम बात करेंगे 7 ऐसी कॉमन टैक्स मिस्टेक्स की, जो आपको 2025 में अवॉइड करनी चाहिए। ये टिप्स आसान, प्रैक्टिकल और इंडियन टैक्सपेयर्स के लिए परफेक्ट हैं। तो चलिए, शुरू करते हैं!


1. Choosing the Wrong Tax Regime

Understanding the Mistake

2025 में इंडिया में दो टैक्स रिजीम हैं – पुराना (Old Tax Regime) और नया (New Tax Regime)। बहुत से लोग बिना सोचे-समझे डिफॉल्ट न्यू रिजीम चुन लेते हैं, जो हमेशा फायदेमंद नहीं होता। मिसाल के तौर पर, अगर आप होम लोन, HRA या 80C डिडक्शन्स का फायदा लेते हैं, तो पुराना रिजीम आपके लिए बेहतर हो सकता है।

How to Avoid

  • अपने इनकम, डिडक्शन्स और इनवेस्टमेंट्स को चेक करें।
  • ऑनलाइन टैक्स कैलकुलेटर यूज़ करें, जैसे ClearTax या TaxSpanner, ताकि दोनों रिजीम्स की तुलना कर सकें।
  • CA (Chartered Accountant) से सलाह लें अगर आपका इनकम या डिडक्शन्स कॉम्प्लेक्स हैं।

Why It Matters

गलत रिजीम चुनने से आप हज़ारों रुपये का टैक्स बेनिफिट मिस कर सकते हैं। सही रिजीम चुनकर आप अपनी टैक्स लायबिलिटी कम कर सकते हैं।


2. Missing the ITR Filing Deadline

Understanding the Mistake

इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) फाइल करने की डेडलाइन आमतौर पर 31 जुलाई होती है (नॉन-ऑडिट केस के लिए)। लेकिन बहुत से लोग इसे लास्ट मोमेंट तक टालते हैं और डेडलाइन मिस कर देते हैं। 2025 में डेडलाइन मिस करने पर 5,000 रुपये तक पेनल्टी लग सकती है।

How to Avoid

  • ITR फाइलिंग के लिए अप्रैल या मई से ही तैयारी शुरू करें।
  • अपने Form 16, TDS सर्टिफिकेट्स और इनवेस्टमेंट प्रूफ्स पहले से इकट्ठा कर लें।
  • ऑनलाइन प्लैटफॉर्म्स जैसे Income Tax Portal या Quicko यूज़ करें, जो फाइलिंग को आसान बनाते हैं।

Why It Matters

डेडलाइन मिस करने से न सिर्फ़ पेनल्टी लगती है, बल्कि आप कुछ डिडक्शन्स और रिफंड्स भी मिस कर सकते हैं।


3. Not Declaring All Income Sources

Understanding the Mistake

कई लोग अपनी सैलरी के अलावा दूसरी इनकम, जैसे फ्रीलांसिंग, रेंटल इनकम, या बैंक इंटरेस्ट को डिक्लेयर करना भूल जाते हैं। मिसाल के तौर पर, अगर आपका सेविंग्स अकाउंट इंटरेस्ट 10,000 रुपये से ज्यादा है, तो उसे डिक्लेयर करना ज़रूरी है।

How to Avoid

  • अपने बैंक स्टेटमेंट्स, FD इंटरेस्ट और फ्रीलांस पेमेंट्स चेक करें।
  • Form 26AS डाउनलोड करें, जिसमें आपकी सारी इनकम और TDS की डिटेल्स होती हैं।
  • अगर आप फ्रीलांसर हैं, तो क्लाइंट्स से मिले पेमेंट्स को ट्रैक करें।

Why It Matters

छुपी हुई इनकम डिक्लेयर न करने पर टैक्स डिपार्टमेंट नोटिस भेज सकता है, और पेनल्टी या इंटरेस्ट चार्ज हो सकता है।


4. Ignoring Tax-Saving Investments

Understanding the Mistake

पुराने टैक्स रिजीम में सेक्शन 80C, 80D जैसे डिडक्शन्स आपको 2 लाख रुपये तक का टैक्स बेनिफिट दे सकते हैं। लेकिन कई लोग ELSS, PPF, या मेडिकल इंश्योरेंस जैसे इनवेस्टमेंट्स को इगnore करते हैं।

How to Avoid

  • 80C के तहत PPF, ELSS म्यूचुअल फंड्स या LIC में 1.5 लाख तक इनवेस्ट करें।
  • मेडिकल इंश्योरेंस प्रीमियम के लिए 80D डिडक्शन (25,000-50,000 रुपये) क्लेम करें।
  • इनवेस्टमेंट प्रूफ्स समय पर अपने एम्प्लॉयर को जमा करें।

Why It Matters

टैक्स-सेविंग इनवेस्टमेंट्स न सिर्फ़ टैक्स बचाते हैं, बल्कि आपके फाइनेंशियल गोल्स जैसे रिटायरमेंट या घर खरीदने में भी मदद करते हैं।


5. Incorrect TDS Claims

Understanding the Mistake

TDS (Tax Deducted at Source) आपकी सैलरी, फ्रीलांस इनकम या इंटरेस्ट पर कटता है। लेकिन कई लोग Form 26AS में TDS डिटेल्स चेक नहीं करते और गलत क्लेम कर देते हैं। मिसाल के तौर पर, अगर आपका TDS कटा है, लेकिन ITR में गलत अमाउंट डिक्लेयर करते हैं, तो रिफंड में दिक्कत हो सकती है।

How to Avoid

  • Form 26AS और AIS (Annual Information Statement) डाउनलोड करके TDS डिटेल्स वेरिफाई करें।
  • अपने एम्प्लॉयर या क्लाइंट से TDS सर्टिफिकेट (Form 16/16A) लें।
  • ITR फाइल करते वक्त सही TDS अमाउंट डालें।

Why It Matters

गलत TDS क्लेम से आपका रिफंड रिजेक्ट हो सकता है या टैक्स डिपार्टमेंट का नोटिस आ सकता है।


6. Not Keeping Proper Records

Understanding the Mistake

टैक्स फाइलिंग के लिए प्रूफ्स और डॉक्यूमेंट्स ज़रूरी हैं, लेकिन कई लोग अपने इनवेस्टमेंट्स, डोनेशन या रेंटल इनकम के रिकॉर्ड्स नहीं रखते। अगर टैक्स डिपार्टमेंट ऑडिट करता है, तो प्रूफ्स न होने पर दिक्कत हो सकती है।

How to Avoid

  • अपने इनवेस्टमेंट्स (PPF, ELSS, FD) के स्टेटमेंट्स डिजिटली सेव करें।
  • रेंटल इनकम के लिए रेंट एग्रीमेंट और पेमेंट प्रूफ रखें।
  • Google Drive या Evernote जैसे टूल्स में डॉक्यूमेंट्स ऑर्गनाइज़ करें।

Why It Matters

सही रिकॉर्ड्स न होने पर आप डिडक्शन्स मिस कर सकते हैं या ऑडिट में पेनल्टी फेस कर सकते हैं।


7. Relying Only on Employer for Tax Filing

Understanding the Mistake

कई सैलरीड लोग अपने एम्प्लॉयर के HR डिपार्टमेंट पर पूरी तरह डिपेंड करते हैं। लेकिन Form 16 में सिर्फ़ सैलरी और TDS की डिटेल्स होती हैं, दूसरी इनकम या डिडक्शन्स को आपको खुद डिक्लेयर करना पड़ता है।

How to Avoid

  • Form 16 चेक करें, लेकिन दूसरी इनकम (जैसे FD इंटरेस्ट) को ITR में शामिल करें।
  • ऑनलाइन टैक्स फाइलिंग प्लैटफॉर्म्स जैसे ClearTax यूज़ करें, जो स्टेप-बाय-स्टेप गाइड देते हैं।
  • अगर आपकी इनकम सैलरी के अलावा भी है, तो CA से सलाह लें।

Why It Matters

एम्प्लॉयर सिर्फ़ सैलरी से जुड़ा टैक्स कवर करता है। बाकी इनकम्स को डिक्लेयर न करने से आप टैक्स बेनिफिट्स मिस कर सकते हैं।


Things to Consider

2025 में टैक्स फाइलिंग करते वक्त इन बातों का ध्यान रखें:

  • अपडेट्स चेक करें: 2025 के बजट में टैक्स स्लैब्स या डिडक्शन्स में कोई बदलाव हो सकता है।
  • डिजिटल टूल्स: ClearTax, TaxSpanner जैसे प्लैटफॉर्म्स फाइलिंग को आसान बनाते हैं।
  • प्रोफेशनल हेल्प: अगर आपकी इनकम या डिडक्शन्स कॉम्प्लेक्स हैं, तो CA हायर करें।
  • अर्ली स्टार्ट: जुलाई की डेडलाइन से पहले फाइलिंग शुरू करें।
  • सिक्योरिटी: अपने PAN और बैंक डिटेल्स को सेफ रखें।

Conclusion

2025 में टैक्स फाइलिंग को आसान और स्मार्ट बनाने के लिए इन 7 कॉमन मिस्टेक्स से बचें। सही टैक्स रिजीम चुनें, डेडलाइन्स का ध्यान रखें, सारी इनकम डिक्लेयर करें और अपने रिकॉर्ड्स ऑर्गनाइज़ करें। ये छोटे-छोटे स्टेप्स आपको पेनल्टी, नोटिस और स्ट्रेस

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